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निंदा प्रस्ताव और अविश्वास प्रस्ताव में अंतर जानें | यूपीएससी नोट्स!

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निंदा प्रस्ताव (Censure Motion) और अविश्वास प्रस्ताव (No-Confidence Motion) भारतीय संसदीय प्रक्रिया (Parliamentary Procedure) के दो महत्वपूर्ण तंत्र हैं। संसद (Parliament) के सदस्य इन्हें सदन (House) के मानदंडों के अनुसार कार्यपालिका (Executive) को जवाबदेह बनाने के लिए प्रयोग करते हैं। हालांकि दोनों ही संसदीय उपकरण (Parliamentary Tools) हैं, लेकिन इनकी प्रकृति, उद्देश्य (Objective), लक्ष्य (Goal) और उपयोग (Usage) बिल्कुल अलग होते हैं। निंदा प्रस्ताव किसी विशेष नीति या कार्य (Policy/Action) की आलोचना के लिए लाया जाता है, जबकि अविश्वास प्रस्ताव सीधे सरकार (Government) या मंत्रिपरिषद (Council of Ministers) पर विश्वास की कमी को दर्शाता है। इस लेख में हम विस्तार से निंदा प्रस्ताव और अविश्वास प्रस्ताव के बीच अंतर (Difference between Censure Motion and No-Confidence Motion in Hindi) को समझेंगे। यह विषय विशेष रूप से UPSC, PCS, SSC, State Civil Services Exams जैसे प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है।

What is Censure Motion in Hindi | निंदा प्रस्ताव क्या है?

निंदा प्रस्ताव (Censure Motion) संसद या किसी विधायी निकाय (Legislative Body) द्वारा पारित किया जाने वाला वह प्रस्ताव है, जिसके माध्यम से सरकार (Government) या किसी मंत्री (Minister) की नीतियों (Policies), कार्यों (Actions) या आचरण (Conduct) के प्रति असहमति (Disapproval) और आलोचना (Criticism) व्यक्त की जाती है। यह प्रस्ताव सामान्यतः एक प्रतीकात्मक इशारा (Symbolic Gesture) होता है, लेकिन इसके गंभीर राजनीतिक परिणाम (Political Consequences) भी हो सकते हैं।

Key Points of Censure Motion | निंदा प्रस्ताव के मुख्य बिंदु

  • सरकार या मंत्री के विशेष कार्य, नीति या बयान की आलोचना के लिए लाया जाता है।
  • आमतौर पर विपक्षी दल (Opposition Parties) सरकार को जवाबदेह (Accountable) ठहराने के लिए इसका उपयोग करते हैं।
  • सत्तारूढ़ दल (Ruling Party) के सदस्य भी अपनी असहमति जताने हेतु इसका प्रयोग कर सकते हैं।
  • निंदा प्रस्ताव पारित होने पर सरकार को इस्तीफ़ा (Resignation) देना आवश्यक नहीं होता, लेकिन राजनीतिक दबाव बढ़ता है।
  • यदि किसी मंत्री के विरुद्ध प्रस्ताव पारित हो, तो उसे मंत्रिमंडल (Council of Ministers) से हटाया जा सकता है।

Censure Motion – Key Features | निंदा प्रस्ताव – मुख्य विशेषताएँ

आयाम (Dimension)विवरण (Explanation)
परिभाषा (Definition)सरकार या मंत्री के कार्य/नीति/आचरण के प्रति असहमति व्यक्त करने वाला प्रस्ताव
प्रकृति (Nature)प्रतीकात्मक (Symbolic), लेकिन राजनीतिक असर डालने वाला
लाने का उद्देश्य (Purpose)सरकार या मंत्री को जवाबदेह ठहराना (Holding Government/Minister Accountable)
लाने वाले (Who brings it)मुख्यतः विपक्षी दल, कभी-कभी सत्तारूढ़ दल के सदस्य
परिणाम (Outcome)इस्तीफ़ा अनिवार्य नहीं, लेकिन राजनीतिक दबाव और आलोचना बढ़ती है
प्रभाव (Impact)मंत्री का बर्खास्त होना या सरकार की साख पर असर पड़ना संभव

What is No-Confidence Motion in Hindi | अविश्वास प्रस्ताव क्या है?

अविश्वास प्रस्ताव (No-Confidence Motion) संसद या किसी विधायी निकाय (Legislative Body) में प्रस्तुत किया जाने वाला एक औपचारिक प्रस्ताव (Formal Resolution) है, जिसके माध्यम से सरकार (Government) के प्रति विश्वास की कमी (Lack of Confidence) व्यक्त की जाती है। यह एक गंभीर संसदीय प्रक्रिया (Serious Parliamentary Procedure) है क्योंकि इसके पारित होने पर मंत्रिपरिषद (Council of Ministers) को अनिवार्य रूप से इस्तीफ़ा (Resignation) देना पड़ता है। आमतौर पर विपक्षी दल (Opposition Parties) इसे पेश करते हैं, लेकिन सत्तारूढ़ दल (Ruling Party) के सदस्य भी इसे ला सकते हैं। इस प्रस्ताव को सफल होने के लिए सदन में बहुमत (Majority) का समर्थन मिलना आवश्यक है।

अविश्वास प्रस्ताव की मुख्य विशेषताएँ (Key Points of No-Confidence Motion)

  1. यह सरकार (Government) के प्रति अविश्वास (Lack of Confidence) जताने के लिए लाया जाता है।
  2. इसे केवल लोकसभा (Lok Sabha) में ही प्रस्तुत किया जा सकता है।
  3. प्रस्ताव पेश करने के लिए न्यूनतम 50 सांसदों (MPs) का समर्थन आवश्यक है।
  4. इसे मुख्य रूप से विपक्षी दल (Opposition Parties) लाते हैं।
  5. सत्ताधारी दल (Ruling Party) के सदस्य भी प्रस्ताव ला सकते हैं।
  6. पारित होने के लिए इसे साधारण बहुमत (Simple Majority) चाहिए।
  7. यदि प्रस्ताव पारित हो जाता है, तो मंत्रिपरिषद को अनिवार्य रूप से इस्तीफ़ा देना पड़ता है।
  8. इस्तीफ़ा न देने की स्थिति में संसद भंग (Dissolution) कर दी जाती है और नए चुनाव कराए जाते हैं।
  9. यह प्रस्ताव संपूर्ण सरकार (Entire Government) के खिलाफ होता है, न कि किसी एक मंत्री के।
  10. यह भारतीय संसदीय लोकतंत्र (Indian Parliamentary Democracy) में कार्यपालिका को जवाबदेह (Accountable) बनाने का महत्वपूर्ण साधन है।

Difference between Censure Motion and No-Confidence Motion in Hindi | निंदा प्रस्ताव और अविश्वास प्रस्ताव के बीच अंतर

निंदा प्रस्ताव (Censure Motion) और अविश्वास प्रस्ताव (No-Confidence Motion) भारतीय संसद (Indian Parliament) की दो महत्वपूर्ण संसदीय प्रक्रियाएँ (Parliamentary Procedures) हैं। दोनों का उद्देश्य सरकार (Government) और मंत्रिपरिषद (Council of Ministers) को जवाबदेह (Accountable) बनाना है, लेकिन इनकी प्रकृति, लक्ष्य और परिणाम अलग-अलग होते हैं।

  • निंदा प्रस्ताव का उपयोग किसी विशेष नीति (Policy), कार्यवाही (Action) या मंत्री (Minister) की आलोचना (Criticism) करने के लिए किया जाता है।
  • अविश्वास प्रस्ताव का उपयोग यह जांचने के लिए होता है कि क्या लोकसभा (Lok Sabha) को सरकार पर विश्वास (Confidence) है या नहीं।
  • निंदा प्रस्ताव पारित होने पर सरकार को इस्तीफ़ा देना अनिवार्य नहीं होता, जबकि अविश्वास प्रस्ताव पारित होने पर पूरी मंत्रिपरिषद को इस्तीफ़ा देना पड़ता है।

Main differences between censure motion and no-confidence motion | निंदा प्रस्ताव और अविश्वास प्रस्ताव के बीच मुख्य अंतर

निंदा प्रस्ताव (Censure Motion)अविश्वास प्रस्ताव (No-Confidence Motion)
किसी विशेष नीति, कार्य या मंत्री के आचरण की आलोचना हेतु लाया जाता हैपूरी सरकार के प्रति विश्वास की कमी जताने हेतु लाया जाता है
यह किसी एक मंत्री, मंत्रिसमूह या संपूर्ण मंत्रिपरिषद पर लागू हो सकता हैयह केवल संपूर्ण मंत्रिपरिषद पर लागू होता है
लोकसभा में इसे लाते समय कारण बताना आवश्यक होता हैइसके लिए कारण बताना आवश्यक नहीं है
उद्देश्य: सरकार की नीतियों और कार्यों की निंदा करनाउद्देश्य: सरकार के प्रति लोकसभा का विश्वास तय करना
पारित होने पर भी सरकार/मंत्री को इस्तीफ़ा देना अनिवार्य नहींपारित होने पर प्रधानमंत्री सहित पूरी मंत्रिपरिषद को इस्तीफ़ा देना पड़ता है
नीति, कार्य या व्यक्ति विशेष पर केंद्रितसंपूर्ण सरकार पर केंद्रित
सरकार पर राजनीतिक दबाव और आलोचना बढ़ती हैसरकार का पतन और नए चुनाव की संभावना बढ़ती है
प्रतीकात्मक प्रकृति (Symbolic)निर्णायक प्रकृति (Decisive)
असहमति व्यक्त करने का साधनसरकार की वैधता तय करने का साधन

भारतीय संसदीय लोकतंत्र (Indian Parliamentary Democracy) में निंदा प्रस्ताव (Censure Motion) और अविश्वास प्रस्ताव (No-Confidence Motion) दो महत्वपूर्ण संसदीय उपकरण (Parliamentary Tools) हैं। इनका उद्देश्य सरकार (Government) और मंत्रिपरिषद (Council of Ministers) को जवाबदेह (Accountable) बनाना है। UPSC, PCS, SSC और State Civil Services Exams में इस विषय से जुड़े प्रश्न बार-बार पूछे जाते हैं। Exam24x7.com की विशेषता यह है कि हम इन विषयों को आसान भाषा, तालिकाओं (Tables), उदाहरणों (Examples) और परीक्षाभिमुख (Exam-oriented) दृष्टिकोण से समझाते हैं ताकि छात्र तेजी से और प्रभावी तरीके से तैयारी कर सकें।

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